मेवाड़ विश्वविद्यालय में मनाया गया बाल दिवस

मेवाड़ विश्वविद्यालय में मनाया गया बाल दिवस
बच्चे देश का भविष्य है इसलिये बच्चों में नैतिक मूल्य व दूसरों की मदद की भावना भरते रहना चाहिए- प्रो. आलोक मिश्रा
चित्तौड़गढ़। बच्चे बाग में फूलों के झुण्ड की तरह होते है। बड़े प्यार और दुलार से उनका ध्यान रखना चाहिए। उक्त बातें मेवाड़ विश्वविद्यालय में बाल दिवस के अवसर पर पण्डित जवाहर लाल नेहरू को याद करते हुए कुलपति प्रो. आलोक मिश्रा ने कही। उन्होने कहा कि पण्डित जवाहर लाल नेहरू बच्चों से बहुत प्यार करते थे। उनका मानना था कि बच्चे देश का भविष्य है। इसलिये बच्चों में नैतिक मूल्य व दूसरों की मदद की भावना भरते रहना चाहिए। प्रो. आलोक मिश्रा ने कहा कि पण्डित नेहरू गंगा-जमुनी तहजीब को बनाये रखते हुए सबको साथ लेकर चलने की भावना में विश्वास करते थे।
प्रो. हरि सिंह चौहान ने पण्डित नेहरू के योगदानों को याद करते हुए कहा कि आईआईटी, आईआईएम एवं इसरो जैसी संस्थाओं के स्थापना में महत्वपूर्ण योगदान है। उनकी दूरदर्शी सोच ने भारत को विषम परिस्थितियों में गुट निरपेक्ष रहकर अपनी एक अलग पहचान बनाने में मदद की। पंचशील सिद्धान्त और पंचवर्षीय योजना जैसे दूरगामी परिणाम देने वाले विचारों ने भारत के विकास की गाथा गढ़ी। जिसकी नींव पर नवभारत का निर्माण सम्भव हो सका। इस अवसर पर विद्यार्थियों ने विभिन्न प्रकार के भाषण, गीत, क्विज, डांस प्रतियोगिताओं में प्रतिभागिता की। कार्यक्रम का संचालन विद्यार्थियों राजवीर चौधरी और राजप्रताप तथा धन्यवाद ज्ञापन शाकिब ने किया। कार्यक्रम का आरम्भ सरस्वती वन्दना एवं कुलगीत से तथा समापन राष्ट्रगान से हुआ।